राजधानी में पारा 2.6 डिग्री दो दिन से शीतलहर
ठंड की चपेट - दस साल का रिकार्ड टूटा
आठ डिग्री गिरा पारा, अलाव का सहारा
# नमी की कमी से आया बदलाव गर्म कपड़ों की खरीदारी बढ़ी #
आवाज़ ऐ हिन्द टाइम्स संवादाता, दिसम्बर 2018 | चार डिग्री पारा गिरा - मौसम विज्ञान केंद्र वैज्ञानिक के मुताबिक लगातर उत्तर की ओर से आ रही बर्फीली हवाओं के चलते पूरा प्रदेश ठंड से ठिठुर रहा है। इसका सबसे ज्यादा असर राजधानी में पिछले दो दिनों में पारा में अप्रत्याशित रूप से गिरावट हुई है। शहर में पिछले चौबीस घंटे के दौरान चार डिग्री तथा 48 घंटों के दौरान लगभग आठ डिग्री तक पारा लुढक गया, जिसके चलते पूरी राजधानी ठंड की गिरफ्त में जकड़ गई है।
मौसम ने करवट ली है, राजधानी कड़ाके की ठंड़ के चपेट में है। ठंड़ का सबसे ज्यादा असर राजधानी में देखा को मिला, यहां पिछले दो दिन में रात का पारा लगभग आठ डिग्री तक लुढ़ककर पांच डिग्री के आसपास पहुंच गया, जो पिछले दस वर्षों में सबसे कम तापमान रिकार्ड किया गया। राजधानी उसके आसपास के क्षेत्रों में शीतलहर के चलते पारा में जबर्दस्त गिरावट का दौर जारी है। यहां पिछले चौबीस घंटे में चार तथा 48 घंटे में लगभग आठ डिग्री तक पारा गिर गया। राजधानी में गुरुवार की रात सबसे ठंडी रही। यहां रात का पारा 2.6 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया, जो पिछले दस वर्षों में सबसे कम तापमान रहा।
ठंड के चलते यहां आम जनजीवन प्रभावित हुआ है और लोग ठंड से ठिठुर रहे हैं। वैज्ञानिकों ने बताया कि अगले 30 और 31 दिसंबर के बीच प्रदेश के दक्षिण पश्चिम भाग में हल्की बढोतरी होने के आसार है। इसके अलावा फिलहाल मौसम में विशेष बदलाव होने की संभावना नही है। माना जा रहा है कि यह बदलाव हवा में नमी की कमी और पश्चिमी विझोभ के पास हो जाने की वजह से हुआ है। तेवर तीखे री- मौसम वैज्ञानिकों की माने तो आगामी कुछ दिनों तक ठंड़ के तेवर में कमी दिखती नजर नहीं आ रही।
दिन के साथ रात का पारा फिलहाल इसी तरह से बना रहेगा। हालांकि माना जा रहा है कि नए वर्ष में एक बार फिर पारा उछलेगा, जिससे ठंड़ से राहत की उम्मीद लगाई जा सकती है। पिछले 24 घंटों के दौरान राजधानी में भी जनजीवन शीतलहर के प्रभावित रहेगा। गर्म कपड़ों की दुकानों पर भीड़:- मौसम ने करवट ली है, राजधानी कड़ाके की ठंड के चपेट में है। ठंड़ का सबसे ज्यादा असर राजधानी में देखा को मिला, राजधानी में कड़ाके की ठंड पड़ने की वजह से गर्म कपड़ों की दुकानों पर ग्राहकों का भाड़ बढ़ गई है।